नई दिल्ली: देश के प्रख्यात उद्योगपति रतन टाटा के निधन के करीब 15 दिन बाद उनकी वसीयत से जुड़े कुछ अहम विवरण सामने आए हैं। टाटा की करीब 10,000 करोड़ की संपत्ति में उनके भाई जिमी टाटा, सौतेली बहनें शिरीन और डिएना समेत कई करीबी लोगों को हिस्सेदारी दी गई है। वसीयत में टाटा फाउंडेशन का विशेष उल्लेख भी किया गया है।
करीबी सहयोगी शांतनू नायडू को मिली हिस्सेदारी
TOI की रिपोर्ट के मुताबिक, रतन टाटा ने अपने करीबी सहयोगी शांतनू नायडू और हाउस स्टाफ के लिए भी संपत्ति का कुछ हिस्सा छोड़ा है। इसके साथ ही, टाटा ने अपने महाप्रबंधक शांतनू के वेंचर ‘गुडफेलो’ में अपनी हिस्सेदारी उन्हें ट्रांसफर कर दी है और नायडू का एजुकेशन लोन भी माफ कर दिया है। शांतनू नायडू, टाटा के भरोसेमंद और करीबी माने जाते थे और 2017 से टाटा ट्रस्ट के साथ जुड़े हुए हैं।
पेट डॉग टीटो का भी ख्याल रखा
टाटा ने अपने प्यारे जर्मन शेफर्ड डॉग टीटो के लिए भी व्यवस्था की है। टीटो की देखभाल की जिम्मेदारी उनके रसोइए राजन शॉ को दी गई है, जिसके लिए एक अच्छी राशि छोड़ी गई है। इसके अलावा, वसीयत में उनके बटलर सुब्बैया के लिए भी कुछ हिस्सा तय किया गया है।
टाटा समूह में हिस्सेदारी
पूर्व टाटा चेयरमैन रतन टाटा ने मुंबई के जुहू में दो मंजिला मकान, अलीबाग में बंगला, 350 करोड़ रुपये की एफडी, टाटा संस में 0.83% हिस्सेदारी और करीब 30-40 लग्जरी गाड़ियां भी छोड़ी हैं। टाटा समूह की चैरिटेबल ट्रस्टों में उनके शेयरों की हिस्सेदारी रतन टाटा एंडोमेंट फाउंडेशन को ट्रांसफर की जाएगी।
रतन टाटा का 9 अक्टूबर को मुंबई के ब्रीच कैंडी अस्पताल में 86 साल की उम्र में निधन हुआ था।